मनुष्य के कल्याण का एकमात्र रास्ता है श्रीमद भागवत कथा का रसपान


मनुष्य के कल्याण का एकमात्र रास्ता है श्रीमद भागवत कथा का रसपान

ऋषिकेश से महेश पंवार की रिपोर्ट:—

ऋषिकेश:–रुषा फार्म गुमानीवाला में भैरव भवानी मंदिर के 24 वें स्थापना दिवस पर श्रीमद भागवत कथा का शुभारंभ हुआ। 51 कलशों में ऋषिकेश के त्रिवेणी घाट से गंगा जल भरा और कथा स्थल तक शोभायात्रा निकाली।

भैरव भवानी मंदिर के 24 वें स्थापना दिवस पर गुमानीवाला के रुषा फार्म भागवत कथा का आयोजन किया गया। जिसमें प्रवचन करते हुए कथावाचक आचार्य अनिल जोशी ने कहा कि सभी कथाओं में श्रीमद भागवत कथा श्रेष्ठ मानी गई है। जिस स्थान पर इस कथा का आयोजन होता है, वो तीर्थ स्थल कहलाता है।

यह कथा परम् कल्याणकारी है, कथा श्रवण करने वालों के जीवन का उद्धार हो जाता है। उन्होंने कहा कि कथा सुनने एवं आयोजन कराने का सौभाग्य भी प्रभु प्रेमियां को ही मिलता है। न केवल कथा स्थल बल्कि दूर से भी कोई इसका श्रवण कर लेता है, तो भी वो कई पापों से मुक्ति पा लेता है।

इसलिए सात दिन तक चलने वाली इस पवित्र कथा को श्रवण करके अपने जीवन को सुधारने का मौका हाथ से नहीं जाने देना चाहिए। कथा का महात्म्य बताते हुए उन्होंने कहा कि कथा सुनने वाला मनुष्य निश्चित रूप से मोक्ष प्राप्त करता है।

इससे पूर्व 51 कलशों में ऋषिकेश के त्रिवेणी घाट से गंगा जल भरा और कथा स्थल तक शोभायात्रा निकाली। इस दौरान संस्था के संस्थापक अध्यक्ष कृपालु महाराज, सचिव विपिन रावत, आचार्य विशालमणी भटट, मनीष भट्ट, ेश पैन्यूली, रामलाल चमोली, विनोद पोखरियाल, शुभम आदि रहे।


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